जिले पाँच या अधिक लोगों का एक स्थान पर एकत्र होना प्रतिबंधितl

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निषेधाज्ञा 30 जून तक लागू रहेगी – अपर जिला मजिस्ट्रेट
मोगा , 5 मई :
अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट मोगा श्रीमती चारुमिता ने भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता , 2023 के तहत एक नोटिस जारी किया है।  163 ( दण्ड प्रक्रिया संहिता)  जिला मोगा में सीआरपीसी (1973 ) की धारा 144 के तहत प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए  कुछ प्रतिबंधात्मक आदेश जारी किए गए हैं । यह आदेश 30 जून 2025 को जारी किया गया   तक प्रभावी रहेगा
*सतलज नदी में पड़ने वाले सभी गांवों की भूमि से रेत और मिट्टी निकालना  * पर निषेधाज्ञा
अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट ने बताया कि मोगा जिले के धर्मकोट उपमंडल में सतलुज नदी और उसके आस-पास के गांवों में नियमों के विरुद्ध अवैध गतिविधियां चलाई जा रही हैं।  असामाजिक तत्वों द्वारा लगातार रेत व मिट्टी का उत्खनन किया जा रहा है । ऐसा करने से न केवल नदी के बांधों और पुलों को खतरा पैदा होगा , बल्कि जान-माल की हानि भी हो सकती है। इसलिए सरकार द्वारा स्वीकृत खदानों के अलावा सतलुज नदी में पड़ने वाले सभी गांवों के क्षेत्रों में रेत व मिट्टी निकालने के लिए इस्तेमाल की जाने वाली जेसीबी मशीनें , पॉपलाइन मशीनें , ट्रक व ट्रालियां आदि का प्रयोग सतलुज नदी के अंदर व नदी तटबंध के बाहर किया जा रहा है।  500  मीटर त्रिज्या  लाने के लिए  ‘ को बैन कर दिया गया है। यह आदेश खेतों से मिट्टी हटाने के लिए सरकार द्वारा जारी निर्देशों के अनुरूप है।  पर लागू नहीं होगा ।
* बिना रिफ्लेक्टर के वाहन चलाना  * पर रुकें
इसी प्रकार, साइकिल , रिक्शा , ट्रैक्टर-ट्रॉली , रेहड़ी-पटरी तथा अन्य ऐसे वाहन जिनमें आगे व पीछे लाइट नहीं है, उन्हें लाल रिफ्लेक्टर , चश्मा या अन्य चमकदार टेप लगाए बिना नहीं चलाया जाना चाहिए ।  ‘ को बैन कर दिया गया है। जिलाधिकारी ने कहा कि ऐसे वाहन अक्सर दुर्घटनाओं का कारण बनते हैं। इससे न केवल वित्तीय और व्यक्तिगत नुकसान होता है , बल्कि आम जनता में अशांति और शांति भंग होने का खतरा भी पैदा होता है। इसलिए, उन्हें आगे और पीछे लाल रिफ्लेक्टर, चश्मा या चमकीले टेप लगाए बिना काम करने की अनुमति नहीं दी जाएगी।
*मुख्य राजमार्ग और संपर्क सड़कें  पशुओं का चरना  यह भी प्रतिबंधित*
अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट ने मुख्य राजमार्गों और संपर्क मार्गों का निरीक्षण किया  पशुओं का चरना  पर भी प्रतिबन्ध लगा दिया गया है । उन्होंने कहा कि सड़कों पर चरने वाले ये पशु यातायात में बाधा डाल रहे हैं।  इनसे यातायात का प्रवाह बाधित होता है , जिससे दुर्घटनाओं का खतरा भी पैदा होता है । इसके साथ ही वन विभाग की संपत्ति और किसानों की फसलों को भी नुकसान पहुंचने की आशंका है तथा इन पशुओं से सड़कों को भी नुकसान पहुंच रहा है।  इस पर गंदगी भी है ।
*ज़िला  कानून और व्यवस्था बनाए रखने के उद्देश्य से पांच या अधिक व्यक्तियों का एकत्र होना   प्रतिबंधित *
अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट द्वारा जिला  कानून एवं व्यवस्था बनाए रखने के लिए पांच या अधिक लोगों के एकत्र होने , नारे लगाने , बिना पूर्व अनुमति के धार्मिक जुलूस निकालने और उपदेश देने पर रोक लगाने के आदेश जारी किए गए हैं । उन्होंने कहा कि केवल विशेष परिस्थितियों या अवसरों पर ही  प्रशासकों से लिखित अनुरोध  सार्वजनिक सभाएं और धार्मिक जुलूस केवल संबंधित उप-विभागीय मजिस्ट्रेट से लिखित अनुमति प्राप्त करने के बाद और अनुमति की शर्तों के अधीन आयोजित किए जा सकेंगे । यह आदेश पुलिस/सेना , सैन्य कार्मिक , ड्यूटी पर तैनात किसी भी सरकारी कर्मचारी , अंतिम संस्कार जुलूस, विवाह आदि पर लागू नहीं होगा ।
*मकान मालिकों को अपने किरायेदारों की जानकारी निकटतम पुलिस स्टेशन में दर्ज कराने का आदेश दिया गया*
अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट ने बताया कि जिले में मकान मालिकों द्वारा अपने घरों में रखे गए किराएदारों और नौकरों की सूचना संबंधित थाने को नहीं दी जाती है । अतः बढ़ते अपराधों को रोकने के लिए जिले के सभी मकान मालिकों को निर्देश दिया जाता है कि वे अपने मकानों की सुरक्षा सुनिश्चित करें।  कृपया अपने नजदीकी पुलिस स्टेशन में किरायेदारों एवं घरेलू नौकरों के बारे में जानकारी दर्ज कराएं तथा उनका पंजीकरण भी सुनिश्चित करें । ऐसा न करने पर  मकान मालिक के खिलाफ संहिता के अनुसार कार्रवाई की गई  लाया जाएगा .